हमेशा विवादों में रहने वाले आईपीएल की कैसे हुई शुरूआत?

क्रिकेट की सबसे बड़ी लीग आईपीएल में विवाद न हों यह संभव नही, दरअसल आईपीएल  की शुरूआत ही विवादों के साथ हुई थी, जब एक निज़ी टेलिविजन कंपनी ज़ी-एंटरटेनमेंट इंटरप्राइजेज को बीसीसीआई ने क्रिकेट मैचों के प्रसारण का अधिकार न देने का फैसला किया तब ज़ी-एंटरटेनमेंट ने 2007 में टी20 फॉर्मेट के साथ आईसीएल यानि इंडियन क्रिकेट लीग बनाने का फैसला किया। भारत के दिग्गज पूर्व ऑलराउंडर और नेशनल क्रिकेट एकेडमी के तत्कालीन अध्यक्ष कपिल देव और किरन मोरे ने आईसीएल का दामन थामा, ज़ी-एंटरटेनमेंट ने इसमें एशियाई देशों भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश को भी शामिल करने की योजना बनाई, दुनिया की सबसे अमीर क्रिकेट बोर्ड बन चुकी बीसीसीआई के लिए यह किसी झटके से कम नही था क्योंकि क्रिकेट की लोकप्रियता भारतीय उपमहाद्वीप में सबसे ज्यादा है और इन देशों को आईसीएल में शामिल करने का मतलब था, बीसीसीआई के अस्तित्व को चुनौती देना।

खैर बीसीसीआई ने तुरंत आईसीएल को रोकने की कवायद शुरू कर दी और सबसे पहले कपिल देव को  नेशनल क्रिकेट एकेडमी से बर्खास्त किया गया। बीसीसीआई ने इस संबध में आईसीसी के तत्कालीन अध्यक्ष मेल्कम स्पीड को भी विश्वास में लेते हुए एक स्टेटमेंट जारी करवा दी जिसमें लिखा था कि आईसीसी, आईसीएल को मान्यता नही देगी। साथ ही चेतावनी भी दी कि यदि कोई युवा खिलाड़ी आईसीएल से जुड़ता है तो भारत की राष्ट्रीय क्रिकेट टीम में उसे शामिल नही किया जाएगा साथ ही घरेलू मैचों में खिलाड़ियों को दी जाने वाली राशि भी दोगुनी कर दी।

बिजनेसमैन, आरसीए के अध्यक्ष और बीसीसीआई के उपाध्यक्ष पद पर तैनात ललित मोदी ने 2007 में आईसीएल को रोकने की ज़िम्मेदारी अपने ऊपर ली, उन्होने अमेरिका के मेज़र लीग बेसबॉल की तर्ज पर क्रिकेट के सबसे छोटे फॉर्मेट टी-20 को सिटी बेस्ड फ्रेंचाइजी मॉ़डल के आधार पर आईपीएल (इंडियन प्रीमियर लीग) का नाम दिया, जिसमें ललित मोदी ने बिजनेस और बॉलीवुड के बड़े नामों को शामिल किया। ललित मोदी का यह दांव बेहद सफल रहा। 2008 में हुए पहले संस्करण में करीब 34 लाख 22 हजार लोगों ने  स्टेडियम पर जाकर लाइव मैच  देखा और उसी साल बीसीसीआई ने फ्रेंचाइजी ऑक्शन के जरिए 723.59 मिलियन यूएस डॉलर कमाया। लेकिन चीयरलीडर्स, लेट नाइट पार्टी और बॉलीवुड की रंगीनियों के बीच जल्द ही आईपीएल के तत्कालीन कमिश्नर ललित मोदी विवादों मे आ गये, वित्तीय अनियमितताओँ के चलते   इन दिनों वे लंदन में निर्वासित जीवन जी रहे है, और उनके नाम रेड कॉर्नर नोटिस जारी हुआ है, कपिल देव ने 25 जुलाई 2012 में आईसीएल को अलविदा कर बीसीसीआई का दामन थाम लिया। लेकिन आईपीएल की लोकप्रियता में कमी नही आई है। यही वजह है कि आज आईपीएल की ब्रांड वैल्यू 6.3 बिलियन यूएस डॉलर हो गई है। हरभजन सिंह के थप्पड़ कांड के साथ आग़ाज़ होने वाले आईपीएल में विवादों का अंतहीन सिलसिला जारी है।



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