सूर्य के आद्र्रा नक्षत्र में प्रवेश करने से प्रारंभ होती है वर्षा ऋतु

नई दिल्ली, 9 जून। भारतीय ज्योतिष शास्त्र में प्रकृति से उत्तम तरीके से साम्य स्थापित किया गया है इसीलिए प्रकृति, मौसम, पर्यावरण में होने वाले पल-पल के बदलाव को ज्योतिषीय गणना के माध्यम से सटीक रूप से बताया जा सकता है।

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